उत्तर प्रदेश में कोरोना के 8100 नए मरीज मिले हैं, जबकि 12080 डिस्चार्ज हुए हैं। अब एक्टिव केस की संख्या 55574 हो गई है। प्रदेश में बीते 24 घंटे में 202467 सैंपल की जांच की गई, जिसमें 8100 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। प्रदेश में बीते 24 घंटे में 26 मरीजों की मौत हुई है। इसमें लखनऊ में तीन, कानपुर नगर, वाराणसी, गाजीपुर, सोनभद्र, कन्नौज में दो-दो, गौतमबुद्ध नगर, गाजियाबाद, प्रयागराज, आगरा, शाहजहांपुर, शामली, हरदोई, जालौन, गोंडा सुल्तानपुर, बलिया, हापुड़, कौशांबी में एक-एक मरीज की मौत हुी है।
लखनऊ में 1385, गौतमबुद्ध नगर 364, गाजियाबाद 418, झांसी 173, कानपुर नगर 212, प्रयागराज 258, वाराणसी 259, मेरठ 194, लखीमपुर खीरी 259, गोरखपुर 139, रायबरेली 241, बुलंदशहर 164, बरेली 101, आगरा 104, शाहजहांपुर 237, सहारनपुर 105, बिजनौर 137, शामली 181, सीतापुर 102, मुजफ्फरनगर 101, अमरोहा 242, ललितपुर 272, सिद्धार्थनगर 127, जालौन 132, उन्नाव 119, पीलीभीत 102, महराजगंज 108 मरीज मिले हैं। अन्य जिलों में 100 से कम मरीज मिले हैं।
लखनऊ में 1385 नए मामले, 2026 संक्रमितों ने दी वायरस को मात
कोरोना संक्रमण के मामलों में उतार-चढ़ाव के बीच अब मौतों का सिलसिला बराबर बना हुआ है। रविवार को लखनऊ में कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर के दौरान एक दिन में सबसे ज्यादा तीन मौत हुईं। ये मरीज चंदन अस्पताल, एरा मेडिकल कॉलेज और एसजीपीजीआई में भर्ती थे। इसके साथ ही लखनऊ में रविवार को संक्रमण के 1385 नये मामले मिले जबकि 2006 संक्रमितों ने वायरस को मात देने में सफलता हासिल की।
जिला स्वास्थ्य शिक्षा एवं सूचना अधिकारी योगेश रघुवंशी ने बताया कि मृतकों में पहला व्यक्ति 53 वर्षीय पुरुष था, जिसका कई वर्ष से सीओपीडी का इलाज चल रहा था। संक्रमण की वजह से उसे एरा मेडिकल कॉलेज में भर्ती किया गया था। जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। इसी तरह चंदन अस्पताल में भर्ती 62 वर्षीय पुरुष क्रॉनिक किडनी डिसीज से ग्रसित था। संक्रमित होने की बाद उनकी जान भी बचाई नहीं जा सकी। वहीं एक महिला रोगी जिसकी आयु 66 वर्ष थी, ब्रेन स्टोक और किडनी की समस्या होने पर पीजीआई से उसका इलाज चल रहा था। उसकी भी रविवार को कोरोना संक्रमण से मौत हो गई।
दस हजार से ज्यादा सक्रिय मामले
लखनऊ के अस्पतालों में इस समय दो सौ से ज्यादा कोरोना संक्रमित मरीज भर्ती हैं। इनमें से करीब 10 फीसदी की हालत गंभीर है। डॉक्टरों के अनुसार कोरोना संक्रमण का नया वैरिएंट डेल्टा के मुकाबले कम घातक है लेकिन यह अभी भी जानलेवा है। इसलिए सावधानी बरतना बहुत जरूरी है। लखनऊ में इस समय कोरोना संक्रमण के 10 हजार 579 सक्रिय मामले हैं। स्वास्थ्य विभाग के अनुसार इस समय करीब 15 हजार जांच रोज की जा रही हैं।
अलीगंज में कम हुई संक्रमितों की संख्या
लखनऊ में संक्रमण के लिए लिहाज से तीसरी लहर में सबसे संवेदनशील इलाका अलीगंज रहा है। अब चिनहट में भी संक्रमण के ज्यादा मामले मिल रहे हैं। रविवार को चिनहट में 236, अलीगंज में 195 आलमबाग में 193, इन्दिरानगर में 144, सिल्वर जुबली में 115, सरोजनीनगर में 115 एनके रोड-119, रेडक्रॉस में 83, टूड़ियागंज में 64 कोविड धनात्मक रोगी मिले। इनमें से यात्रा इतिहास वाले 72, कांटेक्ट ट्रेसिंग के 393, प्री सर्जिकल के 36 हेल्थकेयर वर्कर के 30 और कमान अस्पताल के 50 कोविड पॉजीटिव मरीज शामिल हैं।
कोविड संक्रमण जैसे बढ़ा, अब उसी गति से गिरावट
प्रदेश में कोविड संक्रमण की दर जिस तरह बढ़ी, अब उसी गति से गिर रही है। 19 जनवरी को संक्रमण की दर सर्वाधिक 7.70 फीसदी रही। इस दिन 17776 मरीज मिले थे। इसे पीक के तौर पर देखा जा रहा है। रविवार यह चार फीसदी पहुंच गई। कोविड मरीजों के मिलने का सिलसिला दिसंबर से शुरू हुआ। 31 दिसंबर को संक्रमण की दर 0.13 फीसदी रही। जनवरी में बढ़ोतरी शुरू हुई और 10 जनवरी को दर 4.13 फीसदी पर पहुंच गई। 19 के बाद 20 जनवरी को घटकर 7.48 फीसदी आ गयी। इसके बाद से गिरावट जारी है। यह 29 जनवरी को 4.11 फीसदी और 30 जनवरी को चार फीसदी पर पहुंच गई है।
केजीएमयू के पल्मोनरी एंड क्रिटिक ल केयर विभागाध्यक्ष डॉ. वेद प्रकाश का कहना है कि 10 दिन में जिस गति से संक्रमण की दर बढ़ी, उसी गति से अगले 10 दिन में कम भी हुई है। यह सुखद संदेश है। ऐसे में माना जा सकता है कि 19 जनवरी को संक्रमण का पीक था। यही लगता है कि अब तीसरी लहर के ज्यादा प्रभावी होने की संभावना नहीं है। इसी तरह गिरावट रही तो 15 फरवरी तक यह एक फीसदी से नीचे जा सकती है। फिर भी अनिवार्य रूप से मास्क का प्रयोग करना चाहिए। स्वास्थ्य विभाग के महानिदेशक डॉ. वेदब्रत का कहना है कि अभी पीक को लेकर अधिकृत तिथि घोषित नहीं की गई है।
कब और कितनी देर चली कोविड लहर
प्रदेश में पहली लहर चार मार्च 2020 को आयी। 11 सितंबर 2020 को सात हजार पाजिटिव मरीजों के साथ चरम पर थी। यह आठ मार्च तक चली। दूसरी लहर 11 मार्च 2021 को शुरू होकर 24 अप्रैल को चरम पर पहुंची। इस दिन पॉजिटिव केस की संख्या 38 हजार थी। यह 31 जुलाई तक चली।