सबस्टेशनों पर होने वाली तोडफ़ोड़ को लेकर उठाया गया कदम
लखनऊ। विद्युत सप्लाई फेल होने पर सबस्टेशनों को जनता के कहर से बचाने की कवायद शुरु की गयी है। विद्युत विभाग के इस कदम से जहां उपकेंद्र कर्मचारी अपने को सुरक्षित महसूस करेंगे तो वहीं सबस्टेशन पर होने वाली तोडफ़ोड़ से होने वाले नुकसान को बचाया जा सकेगा। इस व्यवस्था के तहत मध्यांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के सबस्टेशनों की सुरक्षा पुख्ता होगी। इस कड़ी में सबसे पहले सबस्टेशनों में सीसीटीवी लगाने की योजना बनायी जा रही है। मध्यांचल के निदेशक तकनीकी की ओर से यह कदम उठाया जा रहा है। उन्होंने इस योजना को अमलीजामा पहनाने के लिए अपनी टीम के साथ कई बिंदुओं पर विचार विमर्श भी किया है। उल्लेखनीय है कि गर्मी में कई कारणों से विद्युत सप्लाई बहुत समय तक बाधित हो जाती है। समय रहते आपूर्ति बहाल न किए जाने के चलते अक्सर जनता उग्र होकर सबस्टेशनों पर धावा बोल देती है। बीते दो तीन सालों में प्रदेश में गर्मी में विद्युत सप्लाई की बदहाली से जनता का आक्रोश सड़कों पर आ पहुंचा। जनता के इस आक्रोश का खामियाजा सरकारी सम्पत्ति के नुकसान के रुप में सामने आता है। इसके अलावा सबस्टेशन में कार्यरत विद्युत कर्मचारियों के मन में असुरक्षा की भावना भी घर कर जाती है। धावा बोलने वाले लोगों की पहचान कर पाना भी असंभव हो जाता है। इन सब दिक्कतों को देखते हुए ही सबस्टेशनों में सीसीटीवी लगाने की योजना तैयार की गई है।
700 उपकेंद्र शामिल
मध्यांचल विद्युत वितरण निगम के करीब 700 सबस्टेशनों में सीसीटीवी लगाने की योजना तैयार की गयी है। साथ ही जो सबस्टेशन संवेदनशील इलाकों में स्थित हैं, वहां पर सीसीटीवी के साथ-साथ सुरक्षा के अन्य इंतजाम भी किए जाएंगे। ताकि इन उपकेंद्रों को विद्युत सप्लाई फेल होने पर जनता के कहर से बचाया जा सके।
बनेगा कंट्रोल रुम, होगी मॉनीटरिंग
सबस्टेशनों में सीसीटीवी लगाने के बाद लगातार मॉनीटरिंग भी की जाएगी। इसके लिए कंट्रोल रूम भी बनाए जाने की योजना है। इस कंट्रोल रूम में बैठने वाले कर्मचारी लगातार सबस्टेशनों में होने वाली हर हरकत पर नजर रखेंगे।
पहले भी बनी है योजना
विद्युत सप्लाई ठप्प होने पर उपकेंद्रों पर होने वाले बवाल को लेकर पहले भी यह योजना बनायी जा चुकी है। लेकिन इसे अमलीजामा नहीं पहनाया जा सका। बीते सालों में राजधानी के उपकेंद्रों पर बढ़ते बवाल को लेकर सबस्टेशनों पर सीसीटीवी लगाने का प्रस्ताव तैयार किया गया था। लेकिन प्रस्ताव तैयार होने के बाद इस योजना को क्रियान्वित नहीं किया जा सका।
विभागीय सहयोग को लेकर हुई थी बैठक
बीते सालों में विद्युत आपूर्ति की बदहाली को लेकर जनता के फूट रहे आक्रोश को लेकर विद्युत विभाग, पुलिस विभाग व डीएम की विभागीय सहयोग को लेकर बैठक भी हुई थी। बैठक में वर्तमान ऊर्जा सचिव संजय अग्रवाल, तत्कालीन प्रबंध निदेशक पावर कॉरपोरेशन एमपी मिश्रा, तत्कालीन जिलाधिकारी लखनऊ व एसएसपी लखनऊ शामिल थे। विभागीय सहयोग के लिए हुई यह बैठक महज दिखावा ही साबित हुई।
सबस्टेशनों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए सीसीटीवी लगाने की योजना पर काम किया जा रहा है। प्रयास किया जा रहा है कि जल्द से जल्द सभी सबस्टेशनों में सीसीटीवी लगा दिए जाएं।
अजीत सिंह, निदेशक तकनीकी, मध्यांचल विद्युत वितरण निगम