अयोध्या। वर्षों का इंतजार आज खत्म हो गया। अयोध्या में बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विधि-विधान के साथ सत्य, सौहार्द, करुणा, आस्था, आदर्श, त्याग और तप के प्रतीक मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम के भव्य मंदिर की नींव रखी। इससे पहले प्रधानमंत्री ने हनुमानगढ़ी और रामलला का दर्शन किया। इसके बाद वह भूमि पूजन कार्यक्रम में पहुंचे। राम नगरी में तय समय के अनुसार प्रधानमंत्री का हेलीकाप्टर साकेत डिग्री कालेज में बनाए गए अस्थायी हैलीपेड पर उतरा जहां पहले से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उनकी आगवानी के लिए मौजूद थे।
प्रधानमंत्री मोदी भारतीय पारंपरिक पोशाक हल्के पीले रंग का कुर्ता, सफेद धोती और भगवा रंग के गमझे में थे। हेलीकाप्टर से उतरने के बाद मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का अभिवादन स्वीकार किया। प्रधानमंत्री ने कोरोना संक्रमण के लिये तय गाइडलाइन का पूरा पालन किया। वह मास्क लगाये हुये थे। उनका स्वागत करने वाले दो मीटर की दूरी पर बनाये गये सफेद रंग के गोलों में खड़े थे।
प्रधानमंत्री मोदी ने सभी का अभिवादन स्वीकार करते हुये अपने वाहन की ओर रूख किया। बाद में पीएम मोदी का काफिला हनुमानगढ़ी के लिये रवाना हो गए। कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सड़क पर सन्नाटा था, लेकिन छतों पर खड़े लोग हाथ हिलाकर अपने प्रधानमंत्री का स्वागत कर रहे थे। मोदी देश के पहले प्रधानमंत्री है जो श्रीरामजन्मभूमि परिसर में विराजमान रामलला के दर्शन किया। प्रधानमंत्री मोदी इससे पहले वर्ष 1991 में आये थे जब उनसे एक पत्रकार ने संयोग से दोबारा आने का समय पूछा था। उस समय उन्होने मुस्करा कर कहा था कि अब अयोध्या तभी आऊंगा जब राम मंदिर का निर्माण शुरू होगा।
पीएम मोदी रामभक्त हनुमान का दर्शन पूजन कर उनसे भूमि पूजन की अनुमति मांगी। दस मिनट प्रसिद्ध हनुमान गढ़ी में बिताने के बाद वह करीब 12 बजे राम जन्मभूमि परिसर पहुंचे। जहां उन्होंने विधिवत रामलला विराजमान का दर्शन पूजन किया।
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